वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 1 फरवरी 2025 को पेश किए गए आम बजट में नए टैक्स स्लैब की घोषणा की है। इस नई व्यवस्था के तहत 12 लाख रुपये तक की वार्षिक आय पर कोई टैक्स नहीं लिया जाएगा। वहीं, सरकार द्वारा हाल ही में 8वें वेतन आयोग को मंजूरी देने से सरकारी कर्मचारियों और पेंशनधारकों की सैलरी में बड़े इजाफे की संभावना है। इस स्थिति में यह जानना महत्वपूर्ण हो जाता है कि क्या नए टैक्स स्लैब का असर 8वें वेतन आयोग के तहत वेतनवृद्धि पर पड़ेगा? आइए इस विषय को विस्तार से समझते हैं।
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8वें वेतन आयोग से क्या होगा बदलाव?
8वें वेतन आयोग के लागू होने से सरकारी कर्मचारियों की सैलरी में उल्लेखनीय बढ़ोतरी देखने को मिलेगी। रिपोर्ट्स के अनुसार, फिटमेंट फैक्टर 1.92 से बढ़कर 2.08 होने पर न्यूनतम बेसिक सैलरी 18,000 रुपये से बढ़कर 37,440 रुपये हो सकती है। वहीं, यदि फिटमेंट फैक्टर को 2.86 तक बढ़ाया जाता है, तो यह राशि बढ़कर 51,480 रुपये तक हो सकती है। इस बदलाव से करीब 1.10 करोड़ सरकारी कर्मचारी और पेंशनधारक लाभान्वित होंगे।
सरकार पर वित्तीय बोझ
नई टैक्स नीति और वेतन आयोग की सिफारिशों के लागू होने से सरकार के वित्तीय दायित्व में भी बढ़ोतरी होगी। सरकार को नए टैक्स स्लैब लागू करने के कारण 1 लाख करोड़ रुपये के राजस्व की कमी सहनी पड़ेगी। वहीं, 8वें वेतन आयोग के प्रभाव से सरकारी खजाने पर 2 लाख करोड़ रुपये का अतिरिक्त बोझ पड़ेगा। इसके बावजूद, सरकार ने इन सुधारों को लागू करने का निर्णय लिया है ताकि सरकारी कर्मचारियों को आर्थिक रूप से मजबूत किया जा सके और देश की अर्थव्यवस्था को गति मिले।
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क्या नए टैक्स स्लैब का असर 8वें वेतन आयोग पर पड़ेगा?
नए टैक्स स्लैब का सीधा प्रभाव सरकारी कर्मचारियों की सैलरी पर पड़ेगा। अगर उनकी वार्षिक आय 12 लाख रुपये तक रहती है, तो उन्हें कोई टैक्स नहीं देना होगा। लेकिन अगर वेतन आयोग की सिफारिशों के कारण उनकी सैलरी 12 लाख रुपये से अधिक हो जाती है, तो उन्हें नए स्लैब के अनुसार टैक्स चुकाना होगा। यह बदलाव मध्यमवर्गीय सरकारी कर्मचारियों को राहत देने के उद्देश्य से किया गया है, जिससे उनकी क्रय शक्ति बढ़ेगी और वे अधिक बचत कर सकेंगे।
इसका एक और महत्वपूर्ण पहलू यह है कि वेतन आयोग की सिफारिशों के बाद भी यदि किसी कर्मचारी की वार्षिक आय 12 लाख रुपये से कम रहती है, तो उन्हें कोई अतिरिक्त कर नहीं देना होगा। यह नीति निम्न और मध्यम आय वर्ग के कर्मचारियों को राहत पहुंचाने में सहायक सिद्ध होगी।
क्या होगा कर्मचारियों और अर्थव्यवस्था पर प्रभाव?
सरकारी कर्मचारियों के लिए यह निर्णय राहत भरा हो सकता है, क्योंकि वेतन बढ़ने के बावजूद टैक्स छूट का लाभ उठाने का अवसर मिलेगा। हालांकि, उच्च वेतन पाने वाले कर्मचारियों को अतिरिक्त कर भुगतान करना होगा। इसके अलावा, बढ़ती हुई सैलरी के चलते बाजार में उपभोक्ता खर्च भी बढ़ सकता है, जिससे आर्थिक गतिविधियों को प्रोत्साहन मिलेगा।