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EPFO ने रचा इतिहास! 2024-25 में 5 करोड़ से ज्यादा प्रॉविडेंट फंड क्लेम किए गए सेटल

EPFO ने नया रिकॉर्ड बनाया! करोड़ों कर्मचारियों को बड़ी राहत – आपके PF क्लेम का क्या हुआ? जानिए इस ऐतिहासिक फैसले के पीछे की पूरी कहानी और इसका आप पर क्या असर पड़ेगा। कहीं आप मौका न चूक जाएं!

By Saloni uniyal
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कर्मचारियों की बचत और भविष्य निधि प्रबंधन के लिए काम करने वाली संस्था Employees Provident Fund Organisation (EPFO) ने एक ऐतिहासिक उपलब्धि हासिल की है। वित्त वर्ष 2024-25 में ईपीएफओ ने 5.08 करोड़ से अधिक क्लेम सेटल किए हैं, जो कि एक नया रिकॉर्ड है। इस दौरान कुल 2,05,932.49 करोड़ रुपये के क्लेम निपटाए गए हैं। श्रम एवं रोजगार मंत्री मनसुख मंडाविया ने इस महत्वपूर्ण उपलब्धि की जानकारी साझा की।

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ऐतिहासिक रिकॉर्ड: पिछले साल से काफी ज्यादा क्लेम सेटलमेंट

केंद्रीय मंत्री ने बताया कि इस वर्ष सेटल किए गए क्लेम्स की संख्या वित्त वर्ष 2023-24 की तुलना में अधिक है। पिछले वित्त वर्ष में 4.45 करोड़ क्लेम्स सेटल किए गए थे, जिसकी कुल राशि 1,82,838.28 करोड़ रुपये थी। यह आंकड़े दर्शाते हैं कि ईपीएफओ की कार्यक्षमता और सदस्य संतुष्टि में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है।

सुधारों की बदौलत तेज हुई क्लेम प्रक्रिया

श्रम मंत्री मनसुख मंडाविया ने बताया कि ईपीएफओ की इस ऐतिहासिक उपलब्धि के पीछे कई सुधारात्मक कदम हैं। इनमें प्रमुख रूप से:

  • ऑटो-क्लेम सेटलमेंट की सीमा और श्रेणी में वृद्धि
  • मेंबर प्रोफाइल अपडेट प्रक्रिया का सरलीकरण
  • प्रोविडेंट फंड ट्रांसफर की प्रक्रिया को सुव्यवस्थित करना
  • KYC अनुपालन अनुपात में सुधार

इन सुधारों के चलते ईपीएफओ की दक्षता में जबरदस्त वृद्धि हुई है और दावा सेटलमेंट प्रोसेस अब पहले से कहीं अधिक तेज और पारदर्शी हो गया है।

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ऑटो-क्लेम सेटलमेंट: मात्र 3 दिनों में प्रक्रिया पूरी

ईपीएफओ द्वारा अपनाए गए ऑटो-क्लेम मैकेनिज्म की वजह से अब क्लेम आवेदन करने के केवल 3 दिनों के भीतर प्रोसेस हो रहे हैं। मौजूदा वित्त वर्ष में ऑटो-क्लेम सेटलमेंट दोगुना बढ़कर 1.87 करोड़ हो गया है, जबकि पिछले वित्त वर्ष में यह आंकड़ा 89.52 लाख था।

प्रोविडेंट फंड ट्रांसफर प्रक्रिया हुई सरल

ईपीएफओ द्वारा प्रोविडेंट फंड ट्रांसफर क्लेम सबमिशन प्रक्रिया को भी आसान बना दिया गया है। अब केवल 8% मामलों में ही मेंबर और एम्पलॉयर से अप्रूवल की जरूरत होती है, जबकि 48% क्लेम सीधे मेंबर द्वारा बिना किसी हस्तक्षेप के सबमिट किए जा सकते हैं। इसके अलावा, 44% ट्रांसफर अनुरोध पूरी तरह से ऑटोमैटिक हो गए हैं।

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मेंबर प्रोफाइल सुधार में तेजी, शिकायतों में आई कमी

मेंबर प्रोफाइल करेक्शन सुधारों के बारे में जानकारी देते हुए मंत्री ने बताया कि अब लगभग 97.18% प्रोफाइल करेक्शन स्वयं सदस्यों के सेल्फ-अप्रूवल से हो रहे हैं, जबकि केवल 1% मामलों में ही नियोक्ता की मंजूरी की आवश्यकता पड़ती है। इससे न केवल दावा सेटलमेंट प्रक्रिया तेज हुई है बल्कि शिकायतों में भी भारी कमी आई है

सुधारों से ईपीएफओ पर बढ़ा विश्वास

ईपीएफओ द्वारा किए गए इन सुधारों का सीधा असर कर्मचारियों की संतुष्टि और विश्वास पर पड़ा है। अब कर्मचारियों को क्लेम सेटलमेंट के लिए लंबे समय तक इंतजार नहीं करना पड़ता और उनकी वित्तीय आवश्यकताओं को तेजी से पूरा किया जा रहा है।

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