ब्रेकिंग न्यूज

AC रोज़ 8 घंटे चलाया तो कितना आएगा बिजली बिल? जानिए AC का महीनेभर का खर्च

गर्मी में AC चलाना अब जरूरी है लेकिन बिजली का बिल जेब पर भारी न पड़े, इसके लिए जानिए 1 टन और 1.5 टन AC की रोजाना और मासिक बिजली खपत, साथ ही पाएं स्मार्ट बिजली बचत के टिप्स इन्वर्टर टेक्नोलॉजी और पावर सेविंग मोड के साथ।

By Saloni uniyal
Published on
AC रोज़ 8 घंटे चलाया तो कितना आएगा बिजली बिल? जानिए AC का महीनेभर का खर्च
AC रोज़ 8 घंटे चलाया तो कितना आएगा बिजली बिल? जानिए AC का महीनेभर का खर्च

मार्च और अप्रैल की शुरुआत के साथ ही देश के कई हिस्सों में तापमान बढ़ने लगता है, जिससे AC Monthly Electricity Bill लोगों की चिंता का विषय बन जाता है। गर्मी से राहत पाने के लिए एयर कंडीशनर (AC) का सहारा तो लिया जाता है, लेकिन इसके चलते बिजली का बिल आसमान छूने लगता है। ऐसे में अगर आप नया AC खरीदने की सोच रहे हैं या पहले से इस्तेमाल कर रहे हैं, तो यह जानना बेहद जरूरी है कि एसी रोज कितने घंटे चलाने पर बिजली का कितना बिल आएगा और कौन से तरीके अपनाकर इसे कम किया जा सकता है।

AC की बिजली खपत किन बातों पर निर्भर करती है?

एसी की पावर खपत मुख्य रूप से उसकी क्षमता (टन) और एनर्जी एफिशिएंसी यानी स्टार रेटिंग पर निर्भर करती है। उदाहरण के तौर पर, अगर आप 1 टन या 1.5 टन का एसी चलाते हैं, तो उनकी प्रति घंटे की यूनिट खपत अलग-अलग होती है।

1 टन का एसी हर घंटे औसतन 1.5 यूनिट (kWh) बिजली खपत करता है, जबकि 1.5 टन का एसी हर घंटे 2 यूनिट (kWh) तक बिजली ले सकता है। हालांकि अगर एसी की एनर्जी एफिशिएंसी ज्यादा है यानी वह 5-स्टार रेटिंग वाला है, तो वही मशीन कम बिजली की खपत करती है।

रोज 8 घंटे चलाने पर कितना होगा बिजली बिल?

मान लीजिए आप एक 1.5 टन का AC रोजाना 8 घंटे चलाते हैं, तो बिजली की खपत कुछ इस तरह होगी:

8 घंटे × 2 यूनिट = 16 यूनिट प्रतिदिन
16 यूनिट × 30 दिन = 480 यूनिट प्रति माह

अगर बिजली की दर ₹8 प्रति यूनिट मानी जाए, तो कुल खर्च होगा:
480 यूनिट × ₹8 = ₹3,840 प्रति माह

वहीं, अगर आप एक 1 टन का AC रोजाना 10 घंटे चलाते हैं, तो:

10 घंटे × 1.5 यूनिट = 15 यूनिट प्रतिदिन
15 यूनिट × 30 दिन = 450 यूनिट प्रति माह
450 यूनिट × ₹8 = ₹3,600 प्रति माह

यह आंकड़े स्पष्ट रूप से दिखाते हैं कि एसी का उपयोग जितना ज्यादा होगा, बिजली का बिल उतना ही अधिक आएगा। लेकिन सवाल उठता है कि क्या कोई ऐसा तरीका है जिससे एसी की कूलिंग भी बनी रहे और बिजली का बिल भी काबू में रहे?

क्या इन्वर्टर AC से बिजली की बचत होती है?

आजकल बाजार में मिलने वाले इन्वर्टर AC पारंपरिक एसी की तुलना में ज्यादा स्मार्ट और ऊर्जा-कुशल होते हैं। इनका कंप्रेसर लगातार चालू रहता है और कमरे के तापमान के अनुसार अपनी स्पीड को एडजस्ट करता है, जिससे बिजली की खपत कम होती है।

यदि कोई 1.5 टन का इन्वर्टर एसी रोज 8 घंटे चलाता है, तो यह एक महीने में औसतन 280 से 320 यूनिट तक की खपत करता है। इससे बिजली का बिल घटकर लगभग ₹2,240 से ₹2,560 के बीच हो सकता है, जो नॉन-इन्वर्टर एसी की तुलना में करीब 30-40% तक सस्ता है। यही कारण है कि अगर आप नया एसी खरीदने की योजना बना रहे हैं, तो इन्वर्टर टेक्नोलॉजी को जरूर प्राथमिकता दें।

AC चलाते समय बिजली की बचत कैसे करें?

अगर आप रोजाना AC का इस्तेमाल करते हैं और चाहते हैं कि बिजली का बिल ज्यादा न आए, तो कुछ सामान्य लेकिन प्रभावी उपायों को अपनाकर आप हर महीने काफी बचत कर सकते हैं। सबसे पहले तो यह जरूरी है कि आप 5-स्टार रेटिंग वाला AC खरीदें, क्योंकि यह कम पावर में ज्यादा कूलिंग देता है।

दूसरा अहम उपाय है कि कमरे को ठंडी हवा के लिए पूरी तरह सील किया जाए। खिड़कियों और दरवाजों की गैप को बंद करने से एसी की कूलिंग बाहर नहीं निकलती और मशीन को ज्यादा मेहनत नहीं करनी पड़ती। इसके अलावा AC का तापमान 24 से 26 डिग्री सेल्सियस पर सेट करना चाहिए क्योंकि 18-20 डिग्री पर चलाने से बिजली ज्यादा खर्च होती है।

AC के साथ सीलिंग फैन का इस्तेमाल करें, ताकि ठंडी हवा पूरे कमरे में फैल सके। यह मशीन की लोड को कम करता है और बिजली की बचत होती है। साथ ही फिल्टर को समय-समय पर साफ करना भी जरूरी है क्योंकि गंदा फिल्टर एयरफ्लो कम कर देता है और कंप्रेसर को ज्यादा काम करना पड़ता है।

अंत में, जब AC की जरूरत न हो या कमरे में कोई न हो, तो उसे बंद करना भी एक अच्छा तरीका है बिजली की बचत का। साथ ही AC में दिए गए ECON या पावर सेविंग मोड का नियमित रूप से इस्तेमाल करें।

AC से जुड़ी कुछ जरूरी बातें जो आपको पता होनी चाहिए

देश में गर्मियों का सीजन काफी लंबा होता है और तापमान कई बार 45 डिग्री तक भी पहुंच जाता है। ऐसे में AC का इस्तेमाल एक जरूरत बन जाता है। लेकिन अगर आप समझदारी से इसका इस्तेमाल करें, तो AC Monthly Electricity Bill को काबू में रखा जा सकता है। इसके लिए सही स्टार रेटिंग, इन्वर्टर तकनीक, और बिजली बचाने के तरीके अपनाना जरूरी है।

वहीं, अब लोग पारंपरिक बिजली स्रोतों की बजाय रिन्यूएबल एनर्जी (Renewable Energy) जैसे सोलर पैनल का भी सहारा ले रहे हैं, जो एक बार की इन्वेस्टमेंट के बाद लंबे समय तक बिजली बचाने में मदद करता है। यदि आप AC के लिए सोलर एनर्जी का उपयोग करें, तो लगभग 60-70% तक बिजली बिल से राहत पाई जा सकती है।

Leave a Comment