
Paisalo Digital, एक प्रमुख NBFC और BSE स्मॉलकैप इंडेक्स का हिस्सा, अगले सप्ताह निवेशकों के लिए फोकस में रह सकता है। इस चर्चा की मुख्य वजह कंपनी द्वारा 9.95% ब्याज दर वाले गैर-परिवर्तनीय डिबेंचर्स (NCDs) की आंशिक परिपक्वता की घोषणा है। 1,00,000 रुपये फेस वैल्यू वाले 1200 डिबेंचर रिडीम किए गए हैं, जबकि शेष 600 डिबेंचर जून 2025 को परिपक्व होंगे। यह कदम कंपनी की वित्तीय स्थिति की स्थिरता को दर्शाता है।
शेयर प्राइस का हाल और निवेशकों के लिए संकेत
पैसालो डिजिटल का शेयर 28 मार्च को 34.03 रुपये पर बंद हुआ। हालाँकि पिछले एक साल में इसमें 48% की गिरावट आई है, लेकिन लंबी अवधि में इसका प्रदर्शन शानदार रहा है। पिछले पांच वर्षों में इसने निवेशकों को 327% तक का मल्टीबैगर रिटर्न दिया है। बाजार विशेषज्ञों ने इस शेयर का टारगेट प्राइस 75 रुपये बताया है, जो लगभग 150% तक की संभावित वृद्धि को दर्शाता है। इसलिए इस पर ‘Strong Buy’ की रेटिंग दी गई है।
डिसेंबर तिमाही (Q3 FY2024) के शानदार नतीजे
पैसालो डिजिटल ने दिसंबर 2024 तिमाही में 62.43 करोड़ रुपये का शुद्ध लाभ दर्ज किया, जो पिछले वर्ष की समान तिमाही के 56.46 करोड़ रुपये के मुकाबले लगभग 11% अधिक है। कंपनी की कुल बिक्री इस दौरान 203.75 करोड़ रुपये रही। ये आँकड़े यह साबित करते हैं कि कंपनी की आय और लाभ में स्थिरता बनी हुई है।
प्रमुख संस्थागत निवेशक: LIC और SBI लाइफ की भागीदारी
कंपनी में दो प्रमुख संस्थागत निवेशकों की हिस्सेदारी है — LIC के पास 84,73,644 शेयर हैं, जो 1.4% हिस्सेदारी को दर्शाते हैं, जबकि SBI लाइफ इंश्योरेंस के पास 6,21,14,267 शेयर हैं, जो कंपनी की 9.9% हिस्सेदारी रखते हैं। इन बड़े निवेशकों की भागीदारी दर्शाती है कि कंपनी में दीर्घकालिक स्थिरता और निवेश योग्य भरोसा मौजूद है।
Paisalo Digital की सामाजिक भूमिका और बिजनेस मॉडल
पैसालो डिजिटल का फोकस समाज के वंचित वर्गों, विशेषकर महिलाओं और स्वयं सहायता समूहों को सशक्त बनाने पर है। यह NBFC माइक्रोफाइनेंस और डिजिटल लेंडिंग के माध्यम से ग्रामीण और अर्ध-शहरी क्षेत्रों में वित्तीय सेवाएं उपलब्ध कराता है। इसका बिजनेस मॉडल ‘Financial Inclusion’ की दिशा में एक ठोस प्रयास है, जो इसे अन्य NBFCs से अलग बनाता है।
NCD रिडेम्प्शन क्या है इसका महत्व?
NCD यानी Non-Convertible Debentures को कंपनी ने आंशिक रूप से रिडीम किया है। इस कदम से यह संकेत मिलता है कि कंपनी के पास पर्याप्त नकदी है और वह समय पर अपने कर्ज दायित्वों को पूरा कर रही है। इससे निवेशकों का भरोसा बढ़ता है और भविष्य में कंपनी की वित्तीय मजबूती का संकेत मिलता है।